Recent

Breaking News

Govt Jobs : Opening

नहीं लग पा रही फर्जी स्कूलों पर लगाम : शिक्षकों का ब्लॉग latest updates

मेवात शहर ही नहीं बल्कि गाव के गली-कूचों में बिना मान्यता के चल रहे निजी स्कूलों पर लगाम लगाने में शिक्षा विभाग नाकाम साबित हो रहा है। जिला शिक्षा अधिकारी ने हालांकि कई बार खंड शिक्षा अधिकारियों को इन पर कार्रवाई करने के आदेश दिए हैं लेकिन अधिकारियों पर आदेशों का असर नहीं है। इसके पीछे कई अधिकारियों की मिलीभगत भी बताई जा रही है। ऐसे में शिक्षा विभाग की कार्यशैली पर यह बड़ा सवाल है। दूसरी तरफ ऐसे स्कूल शिक्षा के नाम पर छात्रों के भविष्य के साथ खिलवाड़ कर रहे हैं।
सैकड़ों ऐसे स्कूल है जो न तो किसी बोर्ड से मान्यता प्राप्त हैं और न ही उन्होंने किसी मान्यता के लिए आवेदन ही किया है। विभाग के पास इन स्कूलों का कोई लेखा-जोखा नहीं है।

मापदंड भी नहीं पूरे

जिले में करीब डेढ़ सौ स्कूल ऐसे हैं जो इन स्कूलों को दुकानों की तरह चल रहे हैं। मान्यता तो दूर ये स्कूल के चौथाई मापदंडों पर खरा नहीं उतर रहे। अंग्रेजी माध्यम के नाम पर यह स्कूल अभिभावकों को आकर्षित करके चांदी कूट रहे है तो नाममात्र का वेतन देकर ये बेरोजगारों का शोषण भी कर रहे है। कम योग्यता रखने वाले यहा तक कि मात्र आठवीं दसवीं पास बेरोजगारों को इन स्कूलों में शिक्षक बनाया हुआ है।

नाम चल रहे मान्यता प्राप्त स्कूलों में

बिना मान्यता के चल रहे ऐसे स्कूलों के प्रबंधकों ने बच्चों के नाम कई स्कूल मुखियाओं से सांठगांठ करके कुछ सरकारी स्कूलों व अन्य मान्यता प्राप्त प्राइवेट स्कूलों में भी कराए हुए है। जब प्रमाण पत्र की बात आती है तो ऐसे निजी स्कूल उन स्कूलों से ही इन बच्चों के प्रमाणपत्र बनवा देते है। पहली अप्रैल से ऑनलाइन दाखिले होने के सरकारी आदेश के बावजूद ऐसे गैरमान्यता प्राप्त निजी स्कूलों में पढ़ रहे बच्चे दोहरे प्रवेश वाली पकड़ में नहीं आ सकते क्योंकि इनका औपचारिक दाखिला तो केवल एक ही सरकारी स्कूल या मान्यता प्राप्त स्कूल में ही है।

सरकार को भी चूना

बिना मान्यता वाले प्राइवेट स्कूलों में पढ़ रहे बच्चों की संख्या सरकारी स्कूलों के रिकॉर्ड में शामिल होकर ऊपर तक जाती है जिसके आधार पर सरकार स्कूलों में शिक्षकों के पद स्वीकृत करती है। उनके नाम की वर्दी, स्टेशनरी, बैग, मिड-डे-मील की राशि के अलावा उन बच्चों के बैंक खातों में वजीफा आदि अन्य राशि भी भेजती है।

बंद होनी चाहिए यह दुकानें

अभिभावकों का कहना है स्कूलों में नाम पर चल रही ऐसी दुकानों पर शिक्षा विभाग लगाम लगाए। अभिभावकों को पूरी जानकारी न होने के कारण वो इनमें दाखिला करा देते हैं। यह छात्रों के भविष्य के साथ धोखा होने के साथ-साथ सरकार को चूना है। शिक्षा विभाग इसे गंभीरता से ले।

अधिकारियों पर सवाल

जिला शिक्षा अधिकारी कहते हैं कि उन्होंने कई बार खंड शिक्षा अधिकारियों को लिखित में इन स्कूलों पर कार्रवाई के लिए लिखा है। बावजूद इसके अधिकारियों द्वारा कार्रवाई न किया जाना, उनकी कार्यशैली व विश्वसनीयता पर सवाल उठाता है। सूत्र बताते हैं कि कई अधिकारियों ने अधिकांश स्कूल मालिकों से सेटिंग की हुई है, जिसके कारण इन स्कूलों पर लगाम नहीं लगाई जा रही है।

वर्जन

निश्चित तौर पर ऐसे स्कूलों पर कार्रवाई कर इन्हें बंद किया जाना चाहिए। इसके लिए हमने सभी खंड शिक्षा अधिकारियों को कई बार लिखा है लेकिन उन्होंने कोई कार्रवाई नहीं की है, ऐसे में अब इन स्कूलों के साथ-साथ खंड शिक्षा अधिकारियों पर भी कार्रवाई की जाएगी। ऐसे स्कूलों छात्र-छात्राओं और अभिभावकों के साथ धोखा कर रहे हैं।

-दिनेश शास्त्री, डीईओ मेवात।
- See more at: http://www.jagran.com/haryana/mewat-12656803.html#sthash.FMuNn5gA.dpuf


सरकारी नौकरी - Government Jobs - Current Opening All Exams Preparations , Strategy , Books , Witten test , Interview , How to Prepare & other details

1 टिप्पणी:

Unknown ने कहा…

Caesars Casino Review (2021) - Get $10 Free with No Deposit
Caesars gri-go.com Casino Review https://septcasino.com/review/merit-casino/ · 1. Claim your $10 free bonus and jancasino.com receive up to $20 in casino wooricasinos.info credits (30 Free 1등 사이트 Spins) · 2. Play Slots at Caesars Casino.

'; (function() { var dsq = document.createElement('script'); dsq.type = 'text/javascript'; dsq.async = true; dsq.src = '//' + disqus_shortname + '.disqus.com/embed.js'; (document.getElementsByTagName('head')[0] || document.getElementsByTagName('body')[0]).appendChild(dsq); })();

Advertisement